हे कृष्ण मधुसूदन | अनूप जलोटा | शीर्ष कृष्ण भजन | भक्ति संसार
भक्ति सॉन्ग
गीत: हे कृष्ण मधुसूदन
गायक: अनूप जलोटा
संगीत: चंद्र कमली
दर्शन दो घनश्याम नाथ मोरी, अंखियां प्यासी रे
मन मंदिर के प्रकाश को जगाओ
मंदिर मंदिर मूरत तारिक
फिर भी तेरा चेहरा नहीं दिखता
मिलने का जमाना नहीं आया
पूर्णमासी रे...
जब आप दया के द्वार खोलते हैं
गूंगा पांचवें नोट में बोला
अंधा देखना लंगड़ा चलना
काशी पहुंचें...
पानी से मेरी प्यास बुझाओ
नैनो की व्याख्या कैसे करें
अब पलक झपकाना बंद करो
मन की बासी फिर...
ग़रीबों के लिए
आप भक्तों का
आपके भजन में मिले सारी खुशियां
दुःख फिर से हो...
आप नाम जप के बारे में नहीं जानते
उन्हें भी अपना समझो
आपकी दयालुता का कोई अंत नहीं है
ओह दुख फिर...
आज का फैसला आपके दरवाजे पर
तेरी हार पर मेरी जीत है
जीत तुम्हारी हार है
चरण उपसी रे...
दरवाज़ा कब से नशे में खड़ा है?
आपको अपना खोने के लिए कहते हैं
नरसी की यह विनती सुनिए
भक्त विलासी रे...
लज्जित न हो, हे प्रभु तेरे
नाथ करो ना दया देरी
तीनों लोकों को छोड़ो
गंगा रे निवासी...
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भजन विवरण
भजन का नाम : हे कृष्ण मधुसूदन | अनूप जलोटा | शीर्ष कृष्ण भजन | भक्ति संसारगायक का नाम : नूपुर-भक्ति-संसार
प्रकाशित तिथि : Feb. 16, 2022, 2:19 a.m.